रायवाला,(Amit kumar): मां आनंदमई मेमोरियल स्कूल रायवाला ने आज 15 वीं अंतर-विद्यालयीय कला प्रतियोगिता का आयोजन आभासी तौर पर किया। कार्यक्रम में उत्तराखंड, महाराष्ट्र और पंजाब के कई स्कूलों ने भाग लिया। मय्मस आर्ट प्रतियोगिता स्कूल के सह-पाठ्यक्रम कैलेंडर में एक वार्षिक कार्यक्रम है जो पिछले डेढ़ दशकों से सफलतापूर्वक आयोजित किया जा रहा है।
इसका उद्देश्य छात्रों की रचनात्मकता और कलात्मक कौशल को बढ़ावा देना है, ताकि उन्हें वार्षिक आधार पर एक वृहद मंच प्रदान किया जा सके। वर्चुअल सत्र की शुरुआत श्री अर्पित पंजवानी, निदेशक माँ आनंदमई मेमोरियल स्कूल द्वारा दिए गए स्वागत भाषण से हुई। मुख्य अतिथि और स्कूल स्टाफ को धन्यवाद देता हुए उन्होंने इस पहली आभासी कला प्रतियोगिता को सफल बनाने के लिए विद्यालय प्रबन्धन, शिक्षिकाओं ,प्रतिभागी विद्यालयों का आभार व्यक्त किया। अर्पित पंजवानी ने कहा की पिछले चौदह वर्षों से प्राथमिक स्तर के छात्रों के लिए यह कला प्रतियोगिता स्कूल परिसर में आयोजित की जाती है, जो सभी को याद है लेकिन कोविड-19 को ध्यान में रखते हुए- इस वर्ष 19 का आयोजन वस्तुतः किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि और प्रतियगिता के निर्णायक प्रतिष्ठित द दून स्कूल, देहरादून के श्री आलोक भौमिक (दादा) थे। एक कुशल कलाकार, कला शिक्षाविद और कला और मीडिया विभाग के पूर्व प्रमुख, द दून स्कूल के आलोक भौमिक ने ऑनलाइन परिणाम घोषित करने से पहले प्रत्येक और हर प्रविष्टि का गहन अवलोकन किया। अपने भाषण में मुख्य अतिथि श्री आलोक भौमिक ने हमारे जीवन में मन-रचना और कला-संगीत के महत्त्व के बारे में बताया। नोबेल पुरस्कार विजेता रवींद्रनाथ टैगोर का जिक्र करते हुए, भौमिक ने कहा कि टैगोर का खुद का मानना था कि छात्रों में जीवन कला और संगीत गणित विषय जितना ही महत्वपूर्ण है। उन्होंने छात्रों से आग्रह किया कि जीवन के किसी भी क्षेत्र में में रचनात्मक रहें,जो रचनात्मक हैं वही विजेता है। श्रीमती अमिता ओहरी, हेड मिस्टरेस मां आनंदमयी जूनियर मेमोरियल स्कूल द्वारा समापन वक्तव्य प्रस्तुत किया गया, अमिता ने भाग लेने वाले छात्रों की प्रतिभा और कलात्मक कौशल की सराहना की। छात्रों को प्रकृति के करीब रहकर अपनी रचनात्मकता कौशल का सम्मान करने का आग्रह भी किया और अभिनव होने की कोशिश का श्रीमती अमिता ओहरी ने विद्यार्थियो को प्रेरित किया।साथ ही जो प्रतिभागी विजेताओं और सांत्वना सूची में शामिल नहीं थे उनके लिए उन्होंने कहा कि समर्पित प्रयास हमेशा लंबे समय में फलदायी होते हैं।
एसीसी सीमेंट की बिक्री के प्रमुख श्री सुनील सांगवान ने भी आभासी कला प्रतियोगिता को संबोधित किया।तत्पस्चात विजेताओं व सानतव्ना पुरस्कारों की घोषणा की गयी।
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